कुछ बातें दिल की दिल मैं ही रह जाती है ! कुछ दिल से बाहर निकलती है कविता बनकर..... ये शब्द जो गिरते है कलम से.. समा जाते है काग़ज़ की आत्मा में...... ....रहते है........... हमेशा वही बनकर के किसी की चाहत, और उन शब्दो के बीच मिलता है एक सूखा गुलाब....
Saturday, April 19, 2008
क्रिकेटर ले लो... क्रिकेटर ले लो...
हमे फोन उठाते ही आवाज़ आई क्रिकेटर ले लो.. क्रिकेटर ले लो.. हम बोखलाए.. भाई ये क्या है.. नयी रिंगटोन. नया फोन.. ओर लोन के लिए तो फोन आते थे ये अब क्रिकेट का क्या चक्कर है. हमने पूछा भय्ये माज़रा क्या है.. क्या बक बक कर रहे हो. वो बोला देखिए श्रीमान मैं तमीज़ से बात कर रहा हू और आप इसे बक बक कह रहे है. आप नही जानते आप कितने भाग्यशाली है की मैने आपको फोन किया है.. अमा क्रिकेटर्स की नयी टीम बन रही है.. आप भी खरीद लीजिए. फ़ायदा ही फ़ायदा है.. फ़ायदा ! हिन्दुस्तानी आदमी के लिए इस से बढ़िया शब्द क्या हो सकता है.. ओर हम भी ठहरे पक्के हिन्दुस्तानी.. सो हमने कहा बतलाओ जी कैसा फ़ायदा.. वो खुश होकर बोला.. अजी आप रातो रात स्टार बन जाओगे.. कॅमरा मैदान पर खिलाड़ियो से ज़्यादा आप पर रहेगा.. आप आगे आगे खिलाड़ी पीछे पीछे.. इतना सुनते ही हमने ख्यालो की तलैया में डुबकी मार ली.. वो बोला ये तो कुछ नही है सर.. नाचने गाने का पूरा मौका है.. बड़ी बड़ी म्यूज़िक कंपनिया स्पॉंसर कर देगी. एक पोप अलबम बनाओ ओर पूरी टीम के खिलाड़ियो के साथ ठुमके लगाओ.. हमने पूछा खिलाड़ी ओर ठुमके..? वो तो खिलाड़ी है उनका काम तो खेलना है.. वो हमारी अग्यान्ता पर मुस्कुराया. ओर बोला क्या साहब आप भी. आजकल तो जिसे देखो वो ठुमका लगा रहा है.. समय बदल रहा है सर पहले सरस्वती जी के सुर होते थे अब माता लक्ष्मी की ताल होती है ओर सब बस उसी ताल पर बेताल नाचते रहते है.. खिलाड़ी हो या नेता कोई फ़र्क नही पड़ता.. हम अपनी इस अग्यान्ता पर बहुत लज्जित हुए.. हमे लगा जैसे हम कौनसी दुनिया में जी रहे है.. बाहर इतना सब हो रहा है ओर हमे पता ही नही.. हमने कहा लेकिन भैया खाली खिलाड़ी के आगे चलना ओर ठुमके लगाने से क्या होगा.. इसमे भला क्या मज़ा है.. वो हसा और बोला क्या सर आप भी दुनिया मेट्रो ट्रेन में भाग रही है ओर आप है की साइकल रिक्क्षा में बैठे है.. अरे जनाब पैसा ओर क्या.. टीम जीती तो आपको पैसा मिलेगा.. टिकट बिके तो आपको पैसा मिलेगा.. उनके हेल्मेट पे स्पॉंसर का एड दे सकते हो.. बात पे दे सकते हो.. ग्लव्स पे दे सकते हो.. यहा तक की उनके चड्डी बनियान पर भी एड दे सकते हो आप.. अजी क्रिककेटर खरीदा है आपने.. कोई मामूली बात थोड़े ही है.. हम बड़े खुश हो लिए.. भाई बात तो तुम्हारी ठीक है.. अच्छा अब ज़रा सौदे की बात भी कर ले.. ये बताओ क्या भाव दिए क्रिककेटर.. उसने कहा वैसे तो बाज़ार बहुत गर्म है.. पर क्योंकि आप मुझे भले आदमी लगते है इसलिए आपको डिसकाउंट दूँगा.. आप ऐसा करो की सौ की कीमत है पर आप चाहो तो नब्बे दे दो.. हमने कहा अरे कैसी बात करते हो बंधु. पुर सौ लो..दस रुपये के लिए क्या सोचना.. इस बार वो ज़ोर से हसा क्या अंकल आप भी मज़ाक बहुत करते हो.. मैं सौ रुपये नही सौ करोड़ की बात कर रहा हू.. सौ करोड़ !!!!!!!! हमने दिल पे हाथ रखकर अटॅक को आने से रोका.. ओर बोले भय्ये सौ करोड़ अबे तू आदमी है या घनचक्कर.. तुम क्या दुनिया को बेवकूफ़ समझते हो की कोई इतनी महँगी टीम खरीदेगा.. वो फिर मुस्कुराया ओर बोला सर आप बहुत भोले हो.. सारी टीम बिक गयी है बस एक बची है.. आप जल्दी से बता दो वरना में किसी ओर को फोन लगाऊँगा.. हमने अपना घर बार सबकी कीमत लगाई तो ही बीस लाख से ज़्यादा नही हुआ.. टीम कहा से खरीद ते... हमने कहा बाबू साहब मेरे पास तो इतना रुपया नही है.. वो फिर ज़ोर से हंसा ओर बोला सर क्यो मज़ाक करते हो आपके पास पैसा नही होगा तो फिर किसके पास होगा.. आप तो इतने बड़े आदमी है.. हम सकपकाए ओर बोले भैया बड़े सड़े कुछ नही हम तो मामूली आदमी है बॅंक में नौकरी करते है.. वो चौंक गया बोला लेकिन आप तो मशहूर अभिनेता हृतिक कुमार है.. हम बोले भैया कहा हृतिक कुमार ओर कहा हम.. लगता है आपने रॉंग नंबर मिलाया है.. ओर सामने से खट्ट की आवाज़ आई.. शायद सुबह से बोनी नही हुई थी उसकी...
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बस, रांग नम्बर ही समझो, उम्दा लेखन.
ReplyDeleteअच्छा लेखन. बधाई.
ReplyDeletewaah...bahut badhiya.
ReplyDeletesahi kah rahe ho miyan.aaj match dekhte vaqt kai log sharukh khan ka poster uthaye khade the....samjh nahi aaya....udhar westindies ke kisi arabpati ne bhi england ko karodo rupye dene ki peshkash ki hai....isi tarah ki league ki......
ReplyDeletedekhte jayo bhayioye....
बहुत सही लिखा है आपने,नफरत होती है इस सारे तमाशे से...
ReplyDeletebahut badhiya likha hai aapne,main dekhti hu, maze leti hu par Adam Gilchrist ka comment har waqt yaad aata hai 'I felt like a cow'. 'Paisa phenk, tamasha dekh' ka sahi udhaharn hai...
ReplyDeletebahut badhiya ..likhte rahe
bahut prabhavshali vyanga lekhan...badhai
ReplyDeletewah bahut badhiya likh hai sahi.
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