Saturday, June 9, 2007

"उफ़!! ये पति देव मेरे.."

उफ़!! ये पति देव मेरे

सोते देर से है
और उठ ते भी देर से..
चिल्ला चिल्ला के थक जाए
चाहे क्ववा भी मुंडेर से...

bed टी चाहिए, साथ
में सुबह का अख़बार
थोड़ी सी भी ठंडी हो चाय
तो परा सातवे आसमा पार

सुबह सुबह होता है ये हाल...
उफ़!! ये पति देव मेरे

पानी गरम कर दिया क्या
नाश्ते में क्या बनाया है
मुझे लेट हो रहा है
मेरे shocks नही मिल रहे..

जाने कैसे कैसे पूछते है सवाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

घड़ी नही मिल रही
purse कहा रख दिया
सुनती हो जल्दी tiffin लाओ
आज फिर boss डाटे-गा

देखा कैसे मचाते है बवाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

एक जुराब सफ़ेद है
तो दूसरी काली पहनी
जल्दी बाज़ी में देखो
ब्नियान भी उलटी पहनी..

अब मारे शर्म के चेहरा है लाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

टाई बाँधनी आती है मगर
बंधवाएँगे मुझसे
अरे कहा हो जल्दी आओ ना
टाई कौन बांधेगा..

ना आओ तो आता है भूचाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

शाम को dinner का वादा
और लाल बनारसी साड़ी...
क़ब्से सुनती आ रही हू
कुछ भी नही मिलता है

दिल से अमीर पर जेब से कंगाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

भागते हुए जाते है office
पहुचते ही फ़ोन करते है
थोड़ी देर पहले तो गये थे
अब पूछते है कैसी हो....

रखते है कितना मेरा ख़्याल
उफ़!! ये पति देव मेरे

पाँच बजते ही ख़ुश हो जाती हू
उनके आने का time हो गया..
टाई की नोट खुली हुई
shirt आधी बाहर है

लगते है hritik चाहे हो फटे हाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

थके हुए से आते है
कितना काम करते होंगे...
फिर boss ने डाटा होगा
सब कुछ सह जाते है

अल्लाह की गाय है पहने शेर की खाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

चौपाटी पर ले जाते है
dinner तो नही पर चाट खि लाते है
जानते है मुझे फूल पसंद है
और वो भी ले आते है

कहते है तुमसे जीवन मेरा ख़ुशहाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

सपनो वाली बातें करते है
पूरा करके दिखाएँगे
इनकी बाहो मैं सोती हू
सारे दर्द भूल जाती हू...

पाकर के इनको हो गयी मैं निहाल
उफ़!! ये पति देव मेरे

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1 comment:

  1. बढ़िया है।

    मेरी श्रीमती

    प्रश्न-पत्र गढ़ती रहती है
    वह मुझसे लड़ती रहती है।
    दफ्तर से जब घर आता हूँ
    वह मुझको पढ़ती रहती है।

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वो बात कह ही दी जानी चाहिए कि जिसका कहा जाना मुकरर्र है..